पुल निर्माण निगम के प्रोजेक्ट इंजीनियर के यहां निगरानी की छापेमारी में करोड़ों की चल-अचल संपत्ति का खुलासा
पटना,। बिहार पुल निर्माण निगम के प्रोजेक्ट इंजीनियर जंग
बहादुर सिंह के ठिकानों पर गुरुवार रात से लेकर शुक्रवार भोर चार बजे तक
चली छापेमारी में करोड़ों रुपये के चल-अचल संपत्ति की जानकारी मिली है।
कार्यालय से विजिलेंस की टीम को कई महत्वपूर्ण दस्तावेज मिले, जिसे जब्त कर
लिया गया।
निगरानी अन्वेषण ब्यूरो के मुताबिक, आय से अधिक संपत्ति
मामले में गुरुवार देर रात निगरानी ब्यूरो ने दबिश दी थी। छापेमारी की
कार्रवाई शुक्रवार भोर चार बजे खत्म हुई है। विजिलेंस की टीम ने जंग बहादुर
सिंह के पुनाईचक स्थित फ्लैट, पटना के रूपसपुर थाना क्षेत्र के वेद नगर
मोहल्ला, बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड स्थित कार्यालय और बक्सर
जिले के मुफस्सिल थाना क्षेत्र के दुधानी गांव में छापेमारी की।
इंजीनियर
पर आरोप है कि उन्होंने अपने और परिवार के सदस्यों के नाम से पटना और
बक्सर शहर में करोड़ों की जमीन, फ्लैट खरीदे हैं। गोपनीय जांच में निगरानी
ने इंजीनियर के खिलाफ लगाए गए आरोप को प्रथम दृष्ट्या सही पाया है। जांच के
दौरान आय से अधिक संपत्ति का साक्ष्य पाए जाने के आधार पर निगरानी थाना
काण्ड संख्या-03/25, 16 जनवरी, 2025 धारा-13 (2) सहपठित धारा 13 (1) (बी)
भ्र.नि.अधि. 1988 (संशोधित 2018) दर्ज कर लिया गया है।
न्यायालय से
सर्च वारंट मिलने के बाद गुरुवार को विजिलेंस की टीम ने इंजीनियर जंग
बहादुर सिंह के ठिकानों पर छापेमारी की। इसमें कई महत्वपूर्ण दस्तावेज मिले
हैं। हालांकि, विजिलेंस ने बताया है कि तलाशी के दौरान बरामद नकदी, निवेश
से संबंधित कागजात, आभूषण एवं अभिलेख आदि का ब्यौरा पूर्ण रूप से प्राप्त
होने पर शुक्रवार को देर शाम दी जाएगी।
इधर, इंजीनियर जंग बहादुर
सिंह का कहना है कि पूर्व पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) योगेश्वर नाथ
श्रीवास्तव से जमीन का विवाद था, जिसको लेकर उन्होंने निगरानी विभाग में
शिकायत की थी। ये मामला कोर्ट में चल रहा है। इसी को लेकर छापेमारी की गई
है।