पटना (PATNA): मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार आने वाले पांच वर्षों में उद्योग, निवेश और रोजगार के क्षेत्र में नई क्रांति का केंद्र बनेगा. राज्य सरकार वर्ष 2025-30 के दौरान 1 करोड़ युवाओं को नौकरी और रोजगार उपलब्ध कराने के लक्ष्य की दिशा में तेज़ी से कार्य कर रही है. यह जानकारी जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने मंगलवार को दी.


बिहार की आर्थिक प्रगति को नई दिशा देने वाली साबित होगी पहली कैबिनेट बैठक 

उमेश कुशवाहा ने कहा कि नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई नई सरकार की पहली कैबिनेट बैठक बिहार की आर्थिक प्रगति को नई दिशा देने वाली साबित होगी. इसके तहत राज्य में प्रौद्योगिकी और सेवा-आधारित नवाचारों पर केंद्रित “न्यू-एज इकोनॉमी” को बढ़ावा देते हुए बिहार को वैश्विक बैक-एंड हब और ग्लोबल वर्कप्लेस के रूप में विकसित किया जाएगा. 
उन्होंने बताया कि सरकार की योजना के तहत राज्य में डिफेंस कॉरिडोर, सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग पार्क, ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर्स, मेगा टेक सिटी और फिनटेक सिटी की स्थापना की जाएगी, जिससे आधुनिक उद्योगों का मजबूत नेटवर्क विकसित हो सकेगा.

नई चीनी मिलों की स्थापना करेगी सरकार

इसके अलावा, उपेंद्र कुशवाहा ने बताया कि सरकार नई चीनी मिलों की स्थापना और बंद पड़ी मिलों के पुनर्जीवन के लिए नई नीति पर काम कर रही है.  साथ ही प्रमुख शहरों को आधुनिक, सुंदर और सुविधायुक्त बनाने के लिए व्यापक पहल की जा रही है. 

उच्चस्तरीय समिति का गठन

जदयू प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि इन सभी योजनाओं के प्रभावी और समयबद्ध क्रियान्वयन के लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक उच्चस्तरीय समिति गठित की गई है, जो उद्योग संवर्धन, रोजगार सृजन और विकासात्मक कार्यक्रमों की मॉनिटरिंग करेगी.